गुरुवार, 20 फ़रवरी 2020

मेरा पहला आकाशवाणी नाटक : ‘भटकने से पहले’ लेखक : दुर्गेश गुप्त ‘राज’ BHATAKANE SE ...




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मेरा पहला आकाशवाणी नाटक 
‘‘भटकने से पहले’’

यह नाटक एक ऐसे नवयुवक की कहानी है जो विवाह के समय लड़की के चयन को लेकर भटक जाता है। उसे कोई लड़की पसंद ही नहीं आती। फिर उसका दोस्त उसे समझाता है, कि क्यों उसे कोई लड़की पसंद नहीं आ रही। दोस्त के समझाये जाने के पश्चात वह विवाह के लिये तैयार हो जाता है।

विवाह के बाद घटनाक्रम के चलते इस नाटक में दहेज जैसी कुप्रथा का विषय भी गंभीरता से उठाया गया है। विवाह के बाद वह युवक कैसे अपने आप को स्थापित करता है, विस्तार से बताया गया है।

यह नाटक 35 वर्ष पूर्व दिनांक 20 जनवरी, 1985 को आकशवाणी के ग्वालियर केन्द्र से प्रसारित किया गया था।  प्रस्तुतकर्ता थे श्री लक्ष्मण मंडरवाल।

तदोपरांत इसका पुनः प्रसारण दिनांक 21 सितम्बर, 1986 को आकाशवाणी के छतरपुर केन्द्र से किया गया। प्रस्तुतकर्ता थे श्री अरूण दुबे।

यह मेरा पहला रेडिया नाटक था।

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